Health-and-Nutrition/C2/Pre-pregnancy-Nutrition/Hindi
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00:01 | पूर्व गर्भावस्था के पोषण के इस स्पोकन ट्यूटोरियल में आपका स्वागत है। |
00:05 | इस ट्यूटोरियल में हम सीखेंगे प्रजनन और पूर्व गर्भावस्था के दौरान पोषण संबंधित जरूरतें। |
00:14 | पहले शुरू करेंगे प्रोटीन से |
00:17 | प्रोटीन मांसपेशियों के ऊतकों के विकास और रखरखाव के लिए जरूरी होता है। |
00:22 | यह कोशिकाओं को ठीक करने हड्डी के विकास और जोड़ों के लिए जरूरी होता है, |
00:27 | यह रोग प्रतिरोधक शक्ति को बढ़ाने में और तंदुरुस्त जिगर बनाए रखने में और ऊर्जा देने में भी मदद करता है। |
00:34 | प्रोटीन ऐसे रसायन बनाता है जो हाजमे में मदद करते हैं
शरीर में जहरीले पदार्थ को तोड़ते हैं |
00:41 | खून में शुगर की मात्रा बनाए रखते हैं और दिमाग से संकेत इधर उधर ले जाते हैं |
00:47 | प्रोटीन की कमी से भ्रूण के हिसाब से कम विकास होता है, |
00:52 | जैसे कम लंबाई और याददाश्त हाथ और अंगूठे और उंगलियों पर भी नियंत्रण नहीं होता है इन्फेक्शन का खतरा और भी ज्यादा रहता है |
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बड़ी उम्र के लोगों में और यह सब होता है झुर्रियां, बालों का गिरना |
01:05 | थकान और कमजोरी, |
01:08 | बार-बार इन्फेक्शन और मांसपेशी को नुकसान होता है |
01:11 | एक और प्रोटीन होता है केराटिन जो कि बालों और नाखूनों और त्वचा का जरूरी हिस्सा होता है |
01:18 | खास बात यह है कि प्रोटीन अलग अलग पदार्थों से बना होता है जिसे अमीनो एसिड कहते हैं |
01:24 | जिससे पूरे 22 अमीनो एसिड होते हैं जिसमें से 9 अमीनो एसिड खाने में से लेने पड़ते हैं |
01:33 | आइए देखते दो तरह का प्रोटीन जो है - पूरा प्रोटीन और अधूरा प्रोटीन |
01:41 | पहले बताए गए नौ अमीनो एसिड जो जानवरों के प्रोटीन में मिलते हैं। |
01:46 | इसीलिए जानवरों के प्रोटीन को पूरा प्रोटीन कहते हैं |
01:51 | और पौधों के प्रोटीन में यह नौ जरूरी अमीनो एसिड कम मात्रा में होते हैं। |
02:00 | जैसे कि अनाज में लाइसिन और दालों में मेथियोनाइन कम होता है। |
02:07 | इसीलिए यह जरूरी है कि अलग अलग पौधों का प्रोटीन साथ साथ खाया जाए |
02:13 | जैसे कि अनाज और दाल साथ साथ खाने चाहिए क्योंकि इससे जरूरत के हिसाब से अमीनो एसिड मिलता है |
02:23 | आप पोषक तत्व चर्बी की बात करेंगे |
02:28 | अच्छी सेहत के लिए हमें मिलने वाली बढ़िया क़िस्म की चर्बी खाने चाहिए |
02:32 | कुछ चर्बी इंसान का शरीर नहीं बना पाता जैसे कि ओमेगा 3 फैटी एसिड इसीलिए यह खाने में लेना चाहिए |
02:40 | यह दिल को तंदुरुस्त रखता है। |
02:42 | शरीर के सूजन को कम करता है और स्त्री को गर्भधारण करने में मदद करता है। |
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यह शिशु के समय से पहले जन्म होने के खतरे को कम करता है और उसकी बुद्धि बढ़ाता है |
02:56 | प्रोटीन और चर्बी के बाद हम विटामिन ए की बात करेंगे |
03:01 | विटामिन ए आंखों को तंदुरुस्त रखने में और कोशिकाओं को बढ़ाने में मदद करता है |
03:07 | स्त्री को गर्भधारण करने में मदद करता है और पूर्व गर्भावस्था में उस की रोग प्रतिरोधक शक्ति भी बढ़ाता है |
03:14 | विटामिन ए की तरह विटामिन बी कंपलेक्स भी बहुत जरूरी है स्त्रियों की ताकत और जीवन भर की तंदुरुस्ती के लिए |
03:24 | तमाम बी विटामिन में से हम सबसे पहले बात करेंगे विटामिन बी पायरीडॉक्सिन की |
03:31 | विटामिन बी पायरीडॉक्सिन शरीर के तंत्रिकाओं के चलने के लिए जरूरी है जिससे की बुद्धि का विकास होता है |
03:39 | और गर्भावस्था के जी मचलने से भी राहत देता है |
03:44 | अगला पोषक तत्व है विटामिन B12 जोकि फोलेट और कॉलिन दोनों के साथ मिलकर एनीमिया और न्यूरल ट्यूब डिफेक्ट से बचाता है |
03:54 | न्यूरल ट्यूब डिफेक्ट्स जन्म से ही हुई कमियां है जो कि गर्भावस्था के पहले महीने में बनने वाले रीढ़ की हड्डी और तंत्रिकाओ के केंद्र पर असर करती हैं |
04:04 | न्यूरल ट्यूब भ्रूण का वह हिस्सा है जो कि आगे जाकर के दिमाग और रीढ़ की हड्डी बनता है |
04:11 | इसीलिए यह जरूरी है कि गर्भवती होने से पहले शरीर में फॉलेट विटामिन बी12 और कोलिन की मात्रा भरपूर हो |
04:20 | विटामिन बी12 की कमी से एनीमिया, बांझपन और गर्भपात होता है |
04:27 | अब एक और जरूरी पोषक तत्व के बारे में सीखेंगे जो है फोलेट |
04:31 | जिसे विटामिन बी9 बी कहते हैं शरीर में तंदुरुस्त कोशिकाएं बनाता है। |
04:38 | कोशिकाएं ऑक्सीजन को फेफड़ों से शरीर के सभी भागों तक लेकर जाती हैं। |
04:43 | फोलेट की कमी से गर्भवती मांओं को एनीमिया होता है दिमाग और रीढ़ की हड्डी पर भी असर होता है जिसे न्यूरल ट्यूब डिफेक्ट कहते हैं |
04:52 | न्यूरल ट्यूब डिफेक्ट के बारे में इसी ट्यूटोरियल के पहले भाग में बताया गया है। |
04:58 | अब हम आयरन की बात करेंगे जो खून में हीमोग्लोबिन बनाने के लिए जरूरी होता है और भ्रूण के विकास के लिए भी |
05:07 | गर्भावस्था में हीमोग्लोबिन कम होने पर भी यह सब होता है - उच्च रक्तचाप |
05:13 | समय से पहले प्रसव |
05:15 | जन्म से शिशु का वजन कम होना या गर्भपात |
05:18 | हीमोग्लोबिन ऑक्सीजन को शरीर के उत्तको को और कोशिकाओं तक लेकर जाता है |
05:25 | हीमोग्लोबिन और आयरन की कमी होने की वजह से एनीमिया होता है। |
05:30 | स्त्रियों में आयरन की कमी हो सकती है इन वजहों से मासिक स्राव, |
05:36 | पेट में कीड़े या |
05:38 | खाने में कम आयरन होना यदि खाने में फैटी एसिड या ऑक्सेलेट्स हो तो भी आयरन को नहीं सोख पाता |
05:45 | इसीलिए फैटी एसिड या ऑक्सेलेट्स कम करने के लिए ताकि पोषक तत्व के लिए शरीर सोख पाए - |
05:52 | खाना पकाने से पहले यह करें भिगोना या अंकुरित करना या भूनना या तो खमीर उठाना |
06:00 | आयरन की कमी से होने वाले एनीमिया की निशानी है थकान ताकत की कमी |
06:06 | सांस फूलना
दिल की धड़कन तेज होना |
06:10 | फीकी त्वचा होना |
06:11 | याद रहे आयरन के साथ साथ विटामिन सी से भरपूर खाना खाना चाहिए जिसे की आयरन सोख पाए |
06:19 | विटामिन सी शरीर की रोग प्रतिरोधक शक्ति बढ़ाकर इंफेक्शन से बचाता है। |
06:25 | अगला हम सीखेंगे क्यों जरूरी है कैल्शियम और विटामिन डी |
06:30 | कैल्शियम सुझाया जाता है कि वह हड्डियों को बढ़ने में मदद करता है |
06:35 | भ्रूण को कैल्शियम हड्डियों और दातों के विकास के लिए चाहिए होता है |
06:39 | कैल्शियम की कमी से हड्डियां कमजोर होती हैं |
06:43 | याद रखें विटामिन डी से शरीर कैल्शियम सोख पाता है |
06:50 | विटामिन डी पाने का सबसे अच्छा तरीका है कि 15 से 20 मिनट तक शरीर को सुबह 11:00 से 3:00 बजे तक सूरज की रोशनी लगवाएं |
06:59 | अब हम कॉलिन की बात करेंगे। |
07:02 | जोकि शिशु के बुद्धि के विकास के लिए बहुत जरूरी है यही याददाश्त बढ़ाता है और ध्यान लगाने की शक्ति भी |
07:09 | इसकी कमी से उम्र के बड़े लोगों को चर्बी वाला कलेजा होता है |
07:13 | गर्भपात और भ्रूण में न्यूरल ट्यूब डिफेक्ट भी इसी ट्यूटोरियल के पहले भाग में बताया गया है |
07:20 | आइए अब जिंक की बात करते हैं, |
07:24 | जो जरूरी है रोग प्रतिरोधक शक्ति और कोशिकाओं को बढ़ाने के लिए और शरीर में अनुवांशिक चीजें और प्रोटीन भी |
07:31 | और जख्मों को भरने में या अंडा जैसे अंडा निकालने और स्त्रियों की प्रजनन शक्ति भी बढ़ाता है |
07:37 | भ्रूण के बढ़ने के लिए भी जरूरी है |
07:40 | जिंक की कमी होने की वजह से स्वाद और सूंघने की शक्ति कम होती है |
07:46 | देर से गर्भनाल बढ़ता है जिसमें से मां से भ्रूण तक पोषक तत्व पहुंचते हैं |
07:53 | इसकी कमी से भ्रूण देर से बढ़ता है और शिशु कम वजन का पैदा होता है |
08:00 | अगला जरूरी पोषक तत्व है आयोडीन |
08:05 | जो शरीर के थायराइड ग्रंथि से बने थायराइड हार्मोन की मात्रा बनाए रखता है |
08:13 | मां में आयोडीन की कमी से गर्भपात या मरा हुआ बच्चा पैदा हो सकता है |
08:21 | और शिशु में जन्म से ही शिशु को शारीरिक कमियां हो सकती है या फिर पैदाइश से कम भजन या भावना या मंदबुद्धि भी हो सकता है |
08:30 | मैग्नीशियम अगला पोषक तत्व है जो तंत्रिकाओं को शांत करता है |
08:35 | यह दिमाग में खून की नालियों को आराम देकर ऐंठन, माइग्रेन के सिरदर्द से बचाता है |
08:41 | रक्तचाप और दिल की धड़कन बनाए रखता है |
08:45 | यह अनुवांशिक चीजें बनाने या और हड्डियों के विकास में भी मदद करता है। |
08:51 | स्वस्थ गर्भावस्था के लिए पोषक तत्व लेने चाहिए शराब नहीं जिससे गर्भपात या भ्रूण कमजोर हो जाता है |
09:00 | इसके अलावा तंबाकू |
09:03 | सिगरेट नशा |
09:06 | खुद से दवाई
ज्यादा मीठा चाय कॉफी मोटापा करने वाला खाना या पीना नहीं लेना चाहिए |
09:15 | इन सब चीजों से प्रजनन स्वास्थ्य और गर्भावस्था पर बुरा असर पड़ता है |
09:20 | गर्भवती होने से पहले वजन पर ध्यान देना चाहिए |
09:25 | कमजोर स्त्रियों को छोटे शिशु या समय से पहले पैदा हुए शिशु होते हैं
जो कि गर्भावस्था के सातवें या आठवें महीने में हो जाते हैं |
09:34 | ऐसे शिशु कुछ समय में गुजर जाते हैं। |
09:38 | ज्यादा वजन की स्त्रियों में गर्भावस्था के दौरान शुगर और उक्त रक्तचाप हो सकते हैं |
09:45 | जिस वजह से आगे चलकर शिशु को तकलीफ हो सकती हैं |
09:49 | गर्भवती होने से पहले स्त्रियों को अपने वजन को नियंत्रित करने के लिए स्वास्थ्य सेविका को मिलना चाहिए |
09:55 | इसके साथ-साथ जरूरी है संतुलित आहार खाना जिसमें शाकाहारी और मांसाहारी खाना हो या फिर दोनों में से एक हो |
10:05 | याद रखें सभी मांसाहारी खाने प्रोटीन ओमेगा फैटी 3 एसिड विटामिन बी12 विटामिन बी9 जिंक आयरन कैल्शियम और कॉलिन विटामिन डी से भरपूर होते हैं |
10:18 | जानवरों से मिलने वाले खाने के अलावा और पेड़ पौधों से मिलने वाले खाने जैसे दाल बाजरा रागी अनाज दाने और बीज भी- |
10:30 | रोग प्रतिरोधक शक्ति, मांसपेशियां, कलेजा, हड्डियां, |
10:33 | बाल, त्वचा, आंखें और दिमाग के बनने में मदद करते है |
10:36 | दूध के बनी चीजें शिशु के हड्डियां और दांत बनाने में मदद करते हैं |
10:43 | इसके अलावा पत्तेदार सब्जियां और बीच जो कैल्शियम से भरपूर होते हैं जो शिशु की हड्डियां और दांतो के लिए जरूरी होते हैं |
10:52 | पत्तेदार सब्जियों के अलावा फल भी विटामिन सी से भरपूर होते हैं जो रोग प्रतिरोधक शक्ति बढ़ाते हैं आयरन को सोखने में मदद करते हैं और इन्फेक्शन से बचाते हैं। |
11:04 | स्त्रियों की जनन शक्ति और शिशु के विकास के लिए मांसाहारी खाने के अलावा फलियां दाने और बीज भी खाने चाहिए। |
11:14 | मांसाहारी खाना जैसे मछली अंडे या दूध से बनी चीजें शरीर में थायराइड हार्मोन को बनाए रखता है, शरीर को बढ़ने में मदद करता है और शारीरिक कमियों से बचाता है। |
11:27 | दाने और बीजों में मैग्नीशियम भरपूर होता है जो कि तंत्रिकाओं को आराम देता है
और टांगों की ऐंठन से बचाता है |
11:36 | पूर्व गर्भावस्था के पोषण का यह स्पोकन ट्यूटोरियल यहीं समाप्त होता है। |
11:41 | आईआईटी मुंबई से मैं बेला टोनी आपसे विदा लेती हूं।
हमसे जुड़ने के लिए धन्यवाद। |