CellDesigner/C2/Getting-Started-with-CellDesigner/Hindi
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Time | Narration |
00:01 | Getting started with CellDesigner के स्पोकन ट्यूटोरियल में आपका स्वागत है। |
00:05 | इस ट्यूटोरियल में हम सीखेंगे : सेलडिज़ाइनर के बारे में, सेलडिज़ाइनर में “मेनू” एवं “टूल” बार्स के बारे में। |
00:13 | सेलडिज़ाइनर वर्कस्पेस में विभिन्न क्षेत्रों के बारे में। |
00:17 | सेलडिज़ाइनर के “कम्पोनेंट्स” के बारे में, जिसमें Species एवं Reactions शामिल हैं |
00:23 | हम यह भी सीखेंगे कि एक सरल नेटवर्क कैसे बनाते हैं |
00:27 | नेटवर्क को सेव करना |
00:29 | इमेज एक्सपोर्ट करना |
00:30 | नेटवर्क को जूम करना |
00:33 | “सेलडिज़ाइनर” जीन रेगुलेटरी एवं बायोकेमिकल नेटवर्क बनाने के लिए एक प्रोसेस डायग्राम एडिटर है। |
00:40 | प्रोसेस डाईग्राम कीटानो द्वारा प्रस्तावित किया गया था, ये डायग्राम Systems Biology Markup Language (SBML) का उपयोग करके संग्रहित किए गए हैं।
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00:50 | मैं विंडोज XP एवं सेलडिज़ाइनर वर्जन 4.2 का प्रयोग कर रहा हूँ। सेलडिज़ाइनर लिनक्स एवं मैक OS X पर भी काम करता है। |
01:00 | सेलडिज़ाइनर खोलने के लिए, डेस्कटॉप पर सेलडिज़ाइनर के शार्टकट आइकॉन पर डबल क्लिक करें। |
01:07 | यह सेलडिज़ाइनर खोलेगा, अब इसके बारे में जानते हैं। |
01:12 | Menu बार में आपको विभिन्न मेनू विकल्प जैसे - File, Edit, Component ,View, Database एवं अन्य मिलेंगे। |
01:24 | Main Menu में आपको विभिन्न Toolbars दिखेंगे। |
01:30 | यहाँ पर एडिटिंग, स्पीशीज़, रिएक्शन, कम्पोनेंट आदि के लिए Toolbars हैं। |
01:38 | आगे बढ़ते हुए हम इनमें से कुछ के बारे में सीखेंगे। |
01:42 | सेलडिज़ाइनर वर्कस्पेस के विभिन्न क्षेत्रों के बारे में सीखते हैं। |
01:48 | जैसा कि आप देख सकते हैं, 5 क्षेत्र हैं। |
01:52 | दाहिनी तरफ Draw क्षेत्र है। |
01:55 | यही वह जगह है, जहाँ हम नेटवर्क ड्रा करेंगें। |
01:58 | Draw क्षेत्र में कोई भी आकृति जैसे - आयत, एक ओवल या एक रेखाखंड, जो आप देखते हैं “कम्पोनेंट” कहलाती हैं। |
02:08 | species, reactions या compartment के लिए कम्पोनेंट एक सामान्य शब्द है। |
02:14 | कोई भी सेलडिज़ाइनर वेबसाइट - www.celldesigner.org से इन सभी सिम्बल्स एवं उनके अर्थों की सूची देख सकता है। |
02:29 | मैं Documents पर क्लिक करूंगा। |
02:33 | अब स्टार्टअप गाइड पर क्लिक करते हैं। जो एक अन्य टैब पर भी है, |
02:40 | मैं सीधे पेज नंबर 82 पर जाऊँगा। |
02:45 | यहाँ आप विभिन्न सिंबल और उनके अर्थ देख सकते हैं। |
02:51 | अब सेलडिज़ाइनर विंडो पर वापस आते हैं। |
02:55 | Draw क्षेत्र के नीचे List क्षेत्र है। |
02:59 | यहां कोई भी एक मॉडल के कम्पोनेंट्स एवं फंक्शन्स की सूची दिखा और एडिट कर सकता है।
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03:06 | “नोट्स” क्षेत्र का प्रयोग कम्पोनेंट के नोट्स दिखाने और एडिट करने के लिए किया जाता है। |
03:12 | बाईं ओर, एक Tree क्षेत्र है, जो एक “ट्री स्ट्रक्चर” में शामिल कम्पोनेंट्स को सूचीबद्ध करता है। |
03:21 | इसके नीचे Layer क्षेत्र है, जो मॉडल की सभी लेयरों को प्रदर्शित करता है। |
03:27 | बॉर्डरलाइनों को खिसका कर क्षेत्रों के आकार को बदला जा सकता है। |
03:33 | मैं कर्सर को बॉर्डरलाइन पर रखूँगा। आपको डबल हेडेड एरो दिखेगा। क्षेत्र को बढ़ाने या घटाने के लिए इसे खींचे। |
03:45 | “लिस्ट” एवं “नोट्स” क्षेत्र की स्थिति बदलने की लिए |
03:50 | View विकल्प पर जाकर List पर क्लिक करें और Right चुनें। |
03:56 | यह लिस्ट को बदलकर दायीं ओर लाता है। डाउन डिफाल्ट है। |
04:00 | अब स्लाइड पर वापस चलते हैं। |
04:05 | यह एक सरल नेटवर्क है, जिसे हम बनायेंगे। |
04:10 | इस नेटवर्क में प्रोटीन C के उत्प्रेरण में प्रोटीन A, प्रोटीन B के स्टेट ट्रांज़ीशन से होकर गुजरता है। |
04:21 | इसके बदले में प्रोटीन B प्रोटीन D के स्टेट ट्रांज़ीशन से होकर गुजरता है। |
04:27 | यह ट्रांज़ीशन प्रोटीन E द्वारा बाधित होता है। |
04:32 | अब इस नेटवर्क को बनाते हैं। |
04:34 | मैं सेलडिज़ाइनर विंडो पर वापस जाउंगी। |
04:39 | अब फाइल पर और फिर न्यू पर क्लिक करें। |
04:43 | “न्यू डॉक्यूमेंट” नामक एक छोटा डायलॉग बॉक्स खुलेगा। |
04:48 | यह name फ़ील्ड है। |
04:50 | मैं “simple network”टाइप करुँगी। |
04:53 | यहां कोई भी आवश्यकतानुसार ऊंचाई एवं चौड़ाई बदल सकता है। हालांकि, मैं डिफ़ॉल्ट ऊंचाई और चौड़ाई रखूंगी।
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05:03 | OK पर क्लिक करें। आप Draw क्षेत्र के ऊपरी बाएं कोने पर प्रदर्शित नाम देख सकते हैं। |
05:12 | अब, एडिट पर जाएं और Grid snap एवं Grid visible को सक्षम करें। |
05:21 | “ड्रॉ” क्षेत्र में एक ग्रिड दिखाई देगा। |
05:25 | Grid snap कम्पोनेंट्स को ग्रिड के साथ ठीक से अलाइन करेगा। |
05:29 | नेटवर्क पूर्ण हो जाने पर आप Grid visible को अचयनित कर सकते हैं। |
05:34 | कम्पोनेंट्स को जोड़ना शुरु करने से पहले, मैं आपको “स्पीशीज़” एवं “रिएक्शन” के कुछ उदाहरण दिखाती हूँ। |
05:42 | पहले हम “स्पीशीज़” को देखते हैं। |
05:45 | यहाँ दिए गए संकेत 'जेनेरिक प्रोटीन', 'रिसेप्टर', 'आयन चैनल', truncated प्रोटीन, जीन, 'RNA' आदि हैं। |
05:58 | अब रिएक्शन्स देखे हैं पहली है State transition, Heterodimer association, Dissociation, Catalysis, Inhibition आदि। |
06:11 | हम Species टूल बार में पहले आइकॉन पर क्लिक करेंगे। यह आइकॉन प्रोटीन के लिए है। |
06:22 | Draw area में कहीं भी क्लिक करें, जहां आप इस “species” को रखना चाहते हों। |
06:28 | मैं इसे Draw area के बाईं ओर रखूंगी। |
06:33 | एक छोटा डायलॉग बॉक्स खुलेगा और “species” का नाम पूछेगा। |
06:39 | मैं नई “species” का नाम “A” रखूँगी तथा OK पर क्लिक करुँगी। |
06:46 | लिस्ट एरिया में बदलाव को भी देखें। |
06:50 | जैसाकि आप देख सकते हैं कि हमने Draw area में एक नई स्पीशीज़ जोड़ दी है। इसी तरह मैं “B” जोड़ूँगी। |
06:58 | किसी भी कम्पोनेंट को एडिट या मूव करने से पहले आपको इसे चुनना होगा। |
07:03 | कंपोनेंट को चुनने के लिए उस पर क्लिक करें। सुनिश्चित करें कि ऐसा करने से पहले सेलेक्ट आइकॉन ऑन हो। |
07:12 | मैं “A” के बग़ल में “B” को लाना चाहता हूँ। तो B पर क्लिक करें और इसे चुनें। |
07:17 | इसे खिसकाकर “A” के बगल में रखें। |
07:21 | अब हम देखेंगे कि कंपोनेंट का आकर कैसे बदलते हैं। |
07:24 | मैं “A” पर क्लिक करुँगी। हमें उस पर छोटे स्क्वायर (वर्ग) दिखाई देते हैं। |
07:29 | ये आकार परिवर्तित करने के लिए हैंडल हैं। |
07:32 | मैं इस किनारे पर कर्सर रख कर खींचती हूँ। |
07:36 | हम देखते हैं कि “A” का आकार बदल गया है। |
07:39 | कम्पोनेंट के आकार को बदलने का एक और तरीका है, जिसे हम आगे के ट्यूटोरियल में सीखेंगे। |
07:46 | आप Ctrl-Z दबाकर पिछले कार्यों को “undo" कर सकते हैं। |
07:52 | यदि आप “re-do” करना चाहते हैं तो Ctrl-Y दबायें। |
07:54 | आप सीधे undo और redo के आइकॉन पर क्लिक करके भी यह कर सकते हैं। |
08:03 | अब reactions को जोड़ते हैं। |
08:06 | एक रिएक्शन दो ऑब्जेक्ट्स के बीच का इंटरेक्शन है। |
08:09 | यह एक स्टेट ट्रांज़ीशन रिएक्शन है। |
08:12 | अतः मैं Reaction टूलबार में State transition आइकॉन पर क्लिक करूंगी। |
08:18 | A के किसी भी किनारे पर और फिर B पर क्लिक करें। |
08:23 | इस प्रकार, आप देख सकते हैं कि रिएक्शन एरो अब A और B को जोड़ती है। |
08:30 | पहले चुने गए कंपोनेंट को रिएक्टेंट के रूप में माना जाता है। |
08:35 | तो हमेशा पहले रिएक्टेंट को सेलेक्ट करना याद रखें। |
08:39 | डिफ़ॉल्ट रिएक्शन आईडी re1 के रूप में आती है। |
08:43 | अब स्पीशीज़ C जोड़ते है और पिछली स्लाइड में दिखाए गए अनुसार उचित स्थिति में रखते हैं। |
08:54 | मैं Reaction टूलबार से इस आइकन का चयन कर रही हूं। यह Catalysis के लिए है। |
09:00 | मैं C के किनारे पर और State transition रिएक्शन के square symbol पर क्लिक करूँगी। |
09:08 | अब मैं स्पीशीज़ D जोड़ूँगी और इसे B के बगल में रखूंगी। |
09:15 | अब B से D तक एक State transition रिएक्शन जोड़ें। डिफ़ॉल्ट रिएक्शन आईडी re2 है। |
09:26 | मैं स्पीशीज़ E जोड़ूंगी और पिछली स्लाइड में दिखाए गए अनुसार उचित स्थिति में रखूंगी। |
09:35 | अब मैं Reaction टूलबार से इस आइकन को चुनूँगी, जो Inhibition reaction को प्रदर्शित करता है। |
09:44 | मैं E के किनारे पर और “State transition” रिएक्शन के इस वर्गाकार सिंबल पर क्लिक करूंगी। यह दो बिंदुओं को जोड़ेगा। |
09:54 | अब हम एक सरल नेटवर्क देख सकते हैं। |
09:57 | अब अपने काम को सुरक्षित करें। |
10:00 | File पर जायें। Save as पर क्लिक करें। |
10:04 | मैं इसे “Simple Network” नाम दूँगी। |
10:06 | यह हमारे काम को .xml फॉर्मेट में सेव करेगा। Save पर क्लिक करें।
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10:12 | अब हम सीखेंगे कि एक इमेज को एक्सपोर्ट कैसे करते हैं। ऐसा करने के लिए, File>Export Image पर जाएँ। |
10:22 | आप इमेज को पीडीएफ, पीएनजी, जेपीईजी आदि जैसे विभिन्न फॉर्मेट में सेव कर सकते हैं। |
10:29 | मैं इसे jpeg इमेज के रूप में सेव करुँगी Save पर क्लिक करें। |
10:35 | आइए देखते हैं कि नेटवर्क को ज़ूम कैसे करते हैं।
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10:38 | हमारे पास ज़ूम के 4 विकल्प हैं - ज़ूम इन, ज़ूम आउट, ज़ूम फ़िट, ज़ूम रीसेट। |
10:47 | मैं दो बार Zoom In आइकन पर क्लिक करूँगी। हम मैग्नीफाइड इमेज देख सकते हैं। |
10:54 | अब मैं Zoom Reset पर क्लिक करूँगी। नेटवर्क वास्तविक आकार में वापस आ जाता है। |
11:02 | Getting started with CellDesigner का यह स्पोकन ट्यूटोरियल यहीं समाप्त होता है। |
11:08 | संक्षेप में, हमने सेलडिज़ाइनर में मेनू एवं टूल बार के बारे में सीखा। |
11:14 | सेलडिज़ाइनर के विभिन्न क्षेत्र के बारे में। स्पीशीज़ एवं रिएक्शंस जैसे कम्पोनेंट्स के बारे में। |
11:20 | हमने स्पीशीज़ एवं रिएक्शन कम्पोनेंट्स की मदद से सरल नेटवर्क बनाना सीखा। |
11:26 | इसके अलावा हमने ज़ूम करना, नेटवर्क को सेव करना तथा एक इमेज को एक्सपोर्ट करना भी सीखा। |
11:32 | एक असाइनमेंट के रूप में, सेलडिज़ाइनर 4.2 की मदद से एक नेटवर्क बनाएँ। |
11:39 | इस नेटवर्क में, उत्प्रेरक प्रोटीन C की उपस्थिति में A और B प्रोटीन संयुक्त होकर एक यौगिक ( यौगिक1) बनाते हैं। |
11:51 | यह यौगिक उत्प्रेरक D के उपस्थित होने पर डिग्रेड हो जाता है। |
11:58 | आपको एक ऐसा नेटवर्क प्राप्त होना चाहिए। |
12:01 | दिए गए लिंक पर जाकर वीडियो देखें। यह वीडियो स्पोकन ट्यूटोरियल प्रोजेक्ट को सारांशित करता है। अच्छी बैंडविड्थ न मिलने पर आप इसे डाउनलोड करके भी देख सकते हैं। |
12:13 | स्पोकन ट्यूटोरियल्स प्रोजेक्ट टीम कार्यशालाएं आयोजित करती है तथा ऑनलाइन टेस्ट पास करने वालों को प्रमाण पत्र प्रदान करती है, अधिक जानकारी के लिए, कृपया contact@spoken-tutorial.org पर संपर्क करें। |
12:28 | स्पोकन ट्यूटोरियल प्रोजेक्ट टॉक टू अ टीचर प्रोजेक्ट का एक भाग है, यह NMEICT, MHRD भारत सरकार द्वारा समर्थित है। |
12:41 | इस “मिशन” से संबंधित अधिक जानकारी http://spoken-tutorial.org/NMEICT-Intro पर उपलब्ध है। |
12:53 | यह ट्यूटोरियल इं. अमित कुमार द्वारा अनूदित है। आईआईटी बॉम्बे से मैं श्रुति आर्य आपसे विदा लेती हूँ। हमसे जुड़ने के लिए धन्यवाद। |